प्रधानमंत्री मोदी ने कांग्रेस से मुसलमानों को 50 प्रतिशत चुनाव टिकट देने को कहा।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को 2013 में वक्फ कानून में संशोधन करने के लिए कांग्रेस की आलोचना करते हुए कहा कि पार्टी के इस कदम के पीछे मकसद तुष्टीकरण की राजनीति के जरिए चुनाव जीतना है। हरियाणा में एक सभा को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने मल्लिकार्जुन खड़गे की अगुवाई वाली पार्टी से कहा कि अगर उसे देश के सबसे बड़े अल्पसंख्यक समुदाय के प्रति कोई सहानुभूति है तो उसे एक मुस्लिम प्रमुख नियुक्त करना चाहिए।
हिसार के महाराजा अग्रसेन हवाई अड्डे पर नए टर्मिनल भवन की आधारशिला रखने और अयोध्या के लिए एक वाणिज्यिक उड़ान को हरी झंडी दिखाने के बाद एक सभा को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि कांग्रेस मुस्लिम समुदाय के केवल कुछ कट्टरपंथियों को खुश करती है।
मोदी ने कहा, “आजादी से लेकर 2013 तक वक्फ कानून था। लेकिन चुनाव जीतने तथा तुष्टीकरण और वोट बैंक की राजनीति के लिए कांग्रेस ने 2013 के अंत में जल्दबाजी में वक्फ कानून में संशोधन किया ताकि उसे चुनावों में वोट मिल सके (कुछ महीने बाद 2014 में) ।
उन्होंने कहा, “यदि उनमें (कांग्रेस में) मुसलमानों के प्रति थोड़ी भी सहानुभूति है तो उन्हें अपना अध्यक्ष मुस्लिम समुदाय से ही नियुक्त करना चाहिए। वे ऐसा क्यों नहीं करते?” उन्होंने कांग्रेस से 50 प्रतिशत चुनाव टिकट मुसलमानों को देने को भी कहा। मोदी ने कहा, “जीतने के बाद वे अपने विचार सामने रखेंगे।”
उन्होंने कहा कि कांग्रेस की असली सच्चाई यह है कि उसका मुसलमानों सहित किसी भी समुदाय के कल्याण के लिए काम करने का कोई इरादा नहीं है।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि वक्फ बोर्ड के पास देश में लाखों हेक्टेयर जमीन है, जिसका इस्तेमाल गरीबों, बेसहारा महिलाओं और बच्चों के हित में किया जा सकता था। उन्होंने कहा, “अगर इसका ईमानदारी से इस्तेमाल किया गया होता तो मुस्लिम युवाओं को पंक्चर टायर ठीक करके अपनी जिंदगी नहीं गुजारनी पड़ती।”
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि वक्फ से केवल मुट्ठीभर भू-माफियाओं को फायदा हुआ है। मोदी ने कहा, “इससे मुट्ठी भर भू-माफियाओं को ही फायदा हुआ। पसमांदा मुसलमानों को कोई फायदा नहीं हुआ। ये भू-माफिया दलितों, वंचितों, आदिवासियों और विधवाओं की जमीन लूट रहे थे। सैकड़ों विधवा महिलाओं ने केंद्र को पत्र लिखा और फिर इस कानून पर बहस हुई।”
अंबेडकर पर खड़गे का बयान
इस बीच, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने राष्ट्रीय राजधानी में एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए बताया कि किस प्रकार बीआर अंबेडकर को बौद्ध धर्म अपनाने के कारण हिंदू संगठनों द्वारा विरोध का सामना करना पड़ा था।
खड़गे ने कहा, “ये लोग तब भी बाबा साहब के दुश्मन थे और आज भी हैं। जब वे जीवित थे, तब भी उन्होंने उनका समर्थन नहीं किया। जब बाबा साहब ने बौद्ध धर्म अपनाया, तो क्या आप जानते हैं कि इन लोगों ने क्या कहा था? उन्होंने कहा कि वे महार समुदाय से हैं, जो अछूत हैं। उन्होंने यह भी कहा कि बुद्ध को अब अछूत बना दिया गया है। बाबा साहब की राजनीतिक पार्टी रिपब्लिकन पार्टी थी और हिंदू महासभा उनके खिलाफ थी।”
कांग्रेस अध्यक्ष की यह टिप्पणी प्रधानमंत्री मोदी द्वारा आज कांग्रेस पर संविधान को नष्ट करने और अंबेडकर का अपमान करने का आरोप लगाने के बाद आई है।
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